सोमवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने छठवें भारत-जापान संवाद सम्मेलन को संबोधित किया। पीएम ने अपने संबोधन की शुरुआत में कहा कि मैं भारत-जापान संवाद को निरंतर समर्थन देने के लिए जापान सरकार का धन्यवाद करना चाहूंगा।
प्रधानमंत्री ने एक पारंपरिक बौद्ध साहित्य के पुस्तकालय और शास्त्रों के निर्माण का प्रस्ताव दिया। उन्होंने कहा कि यदि ऐसा पुस्तकालय भारत में बनता है तो यह हमारे लिए खुशी की बात होगी।
२५ मार्च २०२२ को प्रदेश का मुख्यामंत्री के पद का शापद लेने के बाद चीफ मिनिस्टर योगी आदित्यनाथ ने उत्तर…
आज यूक्रेन - रूस के बीच 31वें दिन भी लड़ाई जारी है। रूसी सेना लगातार यूक्रेन की स्वास्थ्य सुविधाओं को…
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